स्तन की गांठ या डिस्चार्ज को न करें
नजरअंदाज लपरवाही खतरनाक हो सकती है
देहरादून। श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के कैंसर सर्जरी विभाग ने अस्पताल में स्तन कैंसर
जागरुकता माह मनाया । कार्यक्रम में अस्पताल के नर्सिंग स्टाफ व महिलाओं ने प्रतिभाग किया। विशेषज्ञों डाॅक्टरों ने स्तर कैंसर के लक्षण, पहचान व समय से उपचार के बारे में महत्वपूर्णं जानकारियों सांझा की।
काबिलेगौर है कि अक्टूबर माह को विश्व भर में स्तर कैंसर जागरुकता माह के रूप में मनाया जाता है। श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के आडिटोरियम में बुधवार को कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कैंसर सर्जरी विभाग के प्रमुख डाॅ पंकज कुमार गर्ग ने कहा कि हर आठ में से 6 महिलाओं को ब्रेस्ट कैंसर होने की सम्भावना होती है। जानकारी व जागरूकता ही इसका पहला बचाव है।
उन्होंने कहा कि प्रत्येक महीने में कम से कम एक बार महिलाओं को स्वयं ब्रेस्ट का परीक्षण करना चाहिए। यदि स्तन में कोई गांठ या डिस्चार्ज हो तो यह कैंसर का प्रारम्भिक लक्षण हो सकता है, इसे नजरअंदाज न करें और डाॅक्टर से परामर्श करें। प्रारम्भिक चरण में कैंसर के लक्षण का पता लग जाने पर 90 प्रतिशत मामलों में ब्रेस्ट कैंसर के पूरी तरह ठीक होने की सम्भावना रहती है। यदि बीमारी अधिक बढ़ जाती है तो बीमारी को पूरी तरह ठीक करने के बजाय उपचार केवल रोकथाम तक ही सीमित रह जाता है। डाॅ गर्ग ने कहा कि वर्तमान में स्तन कैंसर के जो मामले सामने आ रहे हैं उनमें से 60 प्रतिशत मामले कैंसर की तीसरी व चैथी स्टेज के हैं जो बेहद चिंताजनक बात है।