हिमाचल के चंबा जिले में गुरुवार आसमान से ऐसी आफत बरसी की सब कुछ पानी-पानी हो गया. उपमंडल भरमौर में बादल फटने के बाद आए सैलाब से लोगों के घरों में पानी और मलबा घुस गया. सबसे ज्यादा नुकसान गरोला और उलांसा नाम की दो पंचायतों को हुआ है।
बादल फटने के बाद आए सैलाब ने खेतों में खड़ी गेहूं की फसल को तहस नहस कर दिया है, जबकि चंबा-होली मार्ग भी इस सैलाब की जद में आ गया. जिसके कारण सड़क को वाहनों की आवाजाही के लिए बंद करना पड़ा. चंबा जिले के कई इलाकों में भारी बारिश और जोरदार ओलावृष्टि भी हुई है.
जानकारी के अनुसार भरमौर उपमंडल के गरोला और उलांसा पंचायतों में गुरुवार शाम बादलों की गड़गड़ाहट से शुरू हुआ मौसम में बदलाव पहले हल्की और फिर मूसलाधार बारिश तक पहुंच गया और फिर देखते ही देखते गरोला-उलांसा रोड पर पानी का सैलाब आ गया. पानी का बहाव इतना तेज था कि वो सड़क के एक हिस्से को भी बहाकर ले गया.

गनीमत यह रही कि जब पानी का सैलान अचानक सड़क पर आ गया. तब सड़क से वाहन नहीं गुजर रहे थे, वरना बड़ा हादसा भी हो सकता था. स्थानीय लोगों से मिली जानकारी के अनुसार मूसलाधार बारिश से इसी प्रकार एक नाला पिल्ली-स्वाई रोड पर भी बन गया. जिससे दो संपर्क मार्गों समेत मुख्य सड़क को भी नुकसान पहुंचा है. नतीजतन यहां पर वाहनों की आवाजाही भी बंद पड़ गई है.
हर जगह पानी ही पानी
स्थानीय लोगों के मुताबिक इलाके में करीब डेढ़ घंटे तक मूसलाधार बारिश हुई. जिसके बाद सड़क पर पानी का सैलाब आ गया. बारिश का पानी कई घरों में भी घुस गया साथ ही खेतों में खड़ी गेहूं की फसल भी बर्बाद हो गई. कई इलाकों में बारिश के साथ ओले भी गिरे जिससे सेब की फसल को नुकसान हुआ है. ग्रामीणों ने प्रशासन से मांग की है कि बारिस से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए टीम गठित कर मौके पर भेजी जाए और पीड़ितों को मुआवजा दिया जाए